जम्मू-कश्मीर में खड़गे ने कांग्रेस के पांच गारंटी का किया ऐलान, भाजपा पर लगाया बड़ा आरोप
श्रीनगर। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने बुधवार को जम्मू-कश्मीर में कांग्रेस-नेशनल कॉन्फ्रेंस (एनसी) गठबंधन के सत्ता में आने पर पांच प्रमुख गारंटी की घोषणा की। प्रमुख वादों में से एक स्वास्थ्य बीमा योजना है जो जम्मू-कश्मीर में प्रत्येक परिवार को 25 लाख रुपये का कवरेज प्रदान करती है। अनंतनाग में एक चुनावी रैली में बोलते हुए, खड़गे ने कश्मीरी पंडित प्रवासियों के पुनर्वास के वादे को पूरा करने की कसम खाते हुए कांग्रेस की दीर्घकालिक प्रतिबद्धता को भी दोहराया।
विस्थापित समुदायों की चिंताओं को दूर करने के गठबंधन के इरादे की पुष्टि करते हुए उन्होंने कहा कि हम मनमोहन सिंह के कार्यकाल के दौरान किए गए कश्मीरी पंडित प्रवासियों के पुनर्वास के वादे को पूरा करेंगे। खड़गे ने जम्मू-कश्मीर में परिवारों की महिला मुखियाओं को ?3,000 का मासिक लाभ देने का वादा किया, साथ ही महिलाओं को 5 लाख रुपये का ब्याज मुक्त ऋण भी दिया। खड़गे ने नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला और के सी वेणुगोपाल और सुबोधकांत सहित अन्य वरिष्ठ कांग्रेस नेताओं की उपस्थिति में वादे पढ़े।
खड़गे ने कहा कि जम्मू-कश्मीर में 1 लाख सरकारी नौकरियां खाली हैं। जैसे ही हमारी सरकार आएगी, वैसे ही इन पदों को भरा जाएगा। यहां हजारों सरकारी स्कूल बंद हो गए हैं, उन्हें शुरू किया जाएगा। हमारी सरकार आते ही पर्यटन, मैन्युफैख्रिंग, जॉब, स्कूल पर फोकस करेंगे। उन्होंने भाजपा पर आरोप लगाते हुए कहा कि जम्मू-कश्मीर में जो रुत्र की सरकार चल रही है, उसमें भ्रष्टाचार हो रहा है। ये लोग धमकाने की कोशिश करते हैं, लेकिन जम्मू-कश्मीर के लोग डरने वाले नहीं हैं।
उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर के पूर्व राज्यपाल सत्यपाल मलिक जी ने कहा कि “मैंने जिन लोगों पर सैकड़ों करोड़ के भ्रष्टाचार का आरोप लगाया, उनकी जांच करने के बजाए सरकारी एजेंसियां तानाशाही आदेश के तहत मेरे घर पर छापेमारी कर रही हैं।” ये बात सत्यपाल मालिक जी ने कही, जिन्हें ख्छ्वक्क ने ही गवर्नर बनाया था। यानी एक तो चोरी दूसरा सीनाजोरी.. उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर में पहले 11 किलो चावल मिलता था, आज केवल 5 किलो मिल रहा है। इससे पता चलता है कि गरीबों का हमदर्द कौन है। कांग्रेस की सरकार फूड सिक्योरिटी बिल लेकर आई। यही कांग्रेस और ख्छ्वक्क में फर्क है। इसलिए मैं कहना चाहता हूं कि आप लोग सिर्फ भाषण देने वालों पर नहीं, काम करने वालों पर भरोसा कीजिए।